कुछ ऐसी है धीरूभाई अंबानी और रतन टाटा की कुंडली, जाने आख़िर क्यों नहीं हो पाई रतन टाटा की शादी

28 दिसंबर यानी कि वह दिन जिस ने देश को 2 बड़े उद्योगपति दिए. हम आपको बता दें कि देश के 2 मशहूर उद्योगपति धीरूभाई अंबानी और रतन टाटा आज ही के दिन पैदा हुए थे. लेकिन हम सभी जानते हैं कि रतन टाटा के शादी के योग आज तक नहीं बन पाए जो देशों का कहना था कि अगर उनकी शादी हो भी जाती तो तलाक की नौबत आ जाती. इसका सबसे बड़ा कारण था शनि की वक्र दृष्टि. हम आपको बता दें कि धीरूभाई अंबानी की कुंडली में जिस तरह के 2 राजयोग बन रहे थे, उस तरह के बिल्कुल हूबहू राजयोग रतन टाटा की कुंडली में भी बन रहे थे. कुलदीपक और शत्रु हंता योग के प्रभाव से यह दोनों अपने समय के टॉप बिजनेसमैन बने.

काशी के मशहूर पंडित के मुताबिक रतन टाटा की कुंडली में पहले घर में धनु राशि के साथ बुध शुक्र और सूर्य हैं. शुक्र और बुध के योग से ही इनके जीवन में कुलदीपक योग बना, और शुक्र के कारण ही इनके कुंडली में शत्रुहंत योग भी बना. और यही सबसे बड़ा कारण है कि इन्हें काम का में रुकावट के बावजूद सफलता मिलती चली गई. वही सूर्य और चंद्रमा आपस में मिलकर वशिष्ठ नाम का एक अन्य राजयोग भी बनाते हैं. हम आपको बता दें कि इन की कुंडली में मंगल उच्च राशि के कर्म भाव में है और ऐसी स्थिति अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बड़ी सफलता देती है.

ज्योतिषाचार्य बताते हैं कि इनकी कुंडली में दांपत्य जीवन के स्वामी बुध पर शनि की वक्र दृष्टि पड़ने के कारण रतन टाटा की शादी अभी तक नहीं हो पाई और उनके विवाह के योग भी नहीं बने साथ ही इस कुंडली के सातवें घर में सूर्य की दृष्टि पड़ रही थी. हम आपको बता दें कि ज्योतिष में इन ग्रहों को विग्रह या अलगाव कराने वाले ग्रह माना जाता है. इसलिए ऐसा कहा जाता है कि अगर रतन टाटा की शादी हो जाती है तो वह तलाक के कगार पर पहुंच जाती.

पंडित डॉ गणेश मिश्र बताते हैं कि धीरूभाई अंबानी की कुंडली के पहले घर में धनु राशि के साथ सूर्य और चंद्रमा थे या दोनों ग्रह अपने मित्र ग्रह की राशि यानी धनु में है हम आपको बता दें कि वही इनकी कुंडली में गुरु ग्रह लग्न का स्वामी होकर कुंडली के दसवें भाग में होने से कुलदीपक योग बना रहा था और इन्हीं दो बड़े लोगों कारण धीरूभाई अंबानी को अपार सफलता प्राप्त हुई थी और इन्हीं के राज लोगों के कारण ही इनकी मृत्यु के बाद भी इनके पुत्रों को सफलता प्राप्त हुई.

गौरतलब है कि पंडित शर्मा के मुताबिक टाटा की जन्म राशि तुला है, और उनका जन्म नक्षत्र विशाखा है. जिसका स्वामी गुरु और राशि स्वामी शुक्र है साथ ही शनि अपने मित्र राशि में मौजूद है. इन्हें शनि की वजह से सफलता मिलती है. वही धीरूभाई अंबानी का जन्म पूर्व नक्षत्र में हुआ था, जिसका स्वामी शुक्र है. और इनकी कुंडली में शनि खुद ही राशि पर राहु भी मित्र राशि कुंभ में होने से इन्हें पैसा और संपत्ति मिली. सूर्य और चंद्र की युति धनु राशि में होने से देश विदेश में भी प्रसिद्धि मिली.

About dp

Check Also

3GB प्रतिदिन डाटा के साथ यह रिलायंस जिओ के कुछ सस्ते प्लान, पढ़ें पूरी खबर

नए साल के अवसर पर सभी टेलीकॉम कंपनियां अपने अपने ग्राहकों को लुभाने की कोशिश …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *