भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता राकेश टिकैत के भाई ने आंदोलन को ख़त्म करने का ऐलान कर दिया हैं. ध्यान रहे की राकेश टिकैत भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता है और उसका भाई नरेश टिकैत भारतीय किसान यूनियन का प्रेजिडेंट हैं. यानी यूनियन की तरफ से फैसला लेने का अधिकार उनके भाई नरेश टिकैत के पास है न की राकेश टिकैत के पास.
अपने ही संघठन द्वारा आंदोलन को वापिस लिए जाने के बाद राकेश टिकैत के तेवर अभी भी बदले नहीं हैं. उन्होंने कहा है की मैं यह आंदोलन जारी रखूँगा पुलिस चाहे तो मुझे गिरफ्तार कर ले. राकेश टिकैत ने कहा की अगर गोली चलानी है तो यहीं पर चलाएं आंदोलन जारी रहेगा, जरुरत पड़ने पर हम और गाँवों के लोगों को भी यहीं बुला लेंगे.
उसके कुछ देर बाद पुलिस ने ग़ाज़ीपुर बॉर्डर पर धारा 144 लगा दी हैं और साथ ही किसान नेताओं से धरना ख़त्म करने की मांग की हैं. ख़बरें हैं की पुलिस ने राकेश टिकैत और उसके साथियों पर UAPA लगा दिया हैं जिस वजह से राकेश टिकैत बुरी तरह से घबराया हुआ हैं. फिलहाल BKU(एकता) और BKU(लोकशक्ति) ने आंदोलन को खत्म कर दिया हैं.
इसी के साथ नरेश टिकैत ने ब्यान देते हुए कहा है की सरकार ने आंदोलन के सारो तरफ से घेराबंदी कर बिजली काट दी हैं. सामान भी बाहर से अंदर नहीं आ पा रहा, ऐसे में आंदोलन को जारी नहीं रखा जा सकता. उन्होंने कहा की पुलिस बार-बार लाठीचार्ज करने की बात कर रही हैं ऐसे में अब नेताओं को यह आंदोलन ख़त्म करते हुए घर चले जाना चाहिए.
गाजीपुर बॉर्डर के मंच पर रोए राकेश टिकैत, दी आत्महत्या की धमकी #FarmersProtest @kumarkunalmedia @ashokasinghal2 pic.twitter.com/gBEOS9fwoq
— AajTak (@aajtak) January 28, 2021
26 जनवरी की एक रात पहले राकेश टिकैत और किसान नेताओं ने दिल्ली पुलिस को आश्वासन दिया था की आंदोलन में मजूद सभी लोग किसान हैं और यह ट्रेक्टर रैली शांतिपूर्वक होगी. ट्रेक्टर रैली के लिए दिल्ली पुलिस ने किसानों कुछ रुट बताये थे और किसान नेता उन रूटों से सहमत भी थे. लेकिन रैली के दौरान रुट में बदलाव किया गया बेरिकेट तोड़ दिए गए और दंगाई लाल किले तक जा पहुंचे. जिसके बाद पुलिस और सरकार को जनता का साथ मिला और इस आंदोलन को खत्म करने की मांग उठने लगी.