जैसा की आप सब जानते है की देश में कोरोना के मामलों पर बहुत ही बेहतर तरीके से लगाम लग चुकी थी. फिर देखते ही देखते केरल और महाराष्ट्र से दुबारा कोरोना के मामले निकलने शुरू हो गए और यह आंकड़े देशभर में फिर एक बार लॉकडाउन लगाने की तरफ जा रहें हैं. हालाँकि अभी से ही मिनी लॉकडाउन लगना शुरू हो चूका है.
लेकिन इसके पीछे ऐसा क्या कारन था किसी को समझ नहीं आ रहा था. इसलिए सवाल वैक्सीन को लेकर भी उठ रहे थे की जब वैक्सीन नहीं थी तो कोरोना केस ख़त्म हो रहे थे और जब वैक्सीन आ गयी कोरोना केस में इजाफा होने लगा. अब इस सवाल से भी पर्दा लगभग उठ गया हैं, मिड-डे ने मुंबई की BMC पर एक रिपोर्ट प्रकाशित की हैं.
इस रिपोर्ट में बताया गया है की अगर कोई इंसान विदेश से सफर करके आता है या फिर उसका कोरोना पॉजिटिव निकलता है तो वह इंसान मात्र 10000 से 15000 की रिश्वत देकर क्वारंटाइन से छुटकारा पा सकता हैं. ऐसे में कोरोना पॉजिटिव इंसान आगे कितने लोगों से मिलेगा और वो आगे कितने लोगों से मिलेंगे महामारी किस कदर फैलेगी इसकी चिंता रिश्वत लेने वाले BMC के कर्मचारियों को नहीं हैं.
महाराष्ट्र में रविवार (4 अप्रैल 2021) को 57000 नए केस दर्ज़ हुए और मुंबई में ही प्रतिदिन 11000 से अधिक मामले दर्ज़ हो रहें हैं. रिपोर्ट में बताया गया है की विदेश से सफर करके आये हुए यात्रियों को मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट के सुविधा स्थान पर लोगों को 7 दिन के अनिवार्य क्वारंटाइन किया जाता हैं.
यह काम BMC के अंतर्गत आता है और BMC कर्मचारियों ने इसका भरपूर फायदा उठाते हुए लोगों की सेहत के साथ खिलवाड़ किया. मिड-डे का यह खुलासा साफ़ तौर पर दर्शाता है की आखिर महाराष्ट्र में ही सबसे ज्यादा कोरोना केस क्यों देखने को मिले और क्यों इसपर काबू नहीं पाया जा सका. मात्र 10000 से 15000 की रिश्वत के लिए BMC के कर्मचारियों ने देश को फिर लॉकडाउन के मुहाने पर लेकर खड़ा कर दिया हैं.