ब्रिटेन के ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने अपनी जांच में पाया है की जो लोग कोरोना वायरस का शिकार हुए है. वह पूरी तरह से ठीक नहीं होते, उनका शरीर आम इंसान के मुकाबले में कमजोर रहता हैं. ऐसे में वह जल्द ही दूसरी बिमारियों का शिकार बन रहें हैं.
आपको बता दें की कोरोना भले ही आपके गले का वायरस हो लेकिन यह आपके शरीर के चार मुख्य अंग फेफड़ें, हृदय, किडनी और लीवर को खराब करने की क्षमता रखता हैं. अब क्योंकि वैक्सीन अभी आई नहीं है और सर्दियाँ आ चुकी हैं तो डॉक्टर्स के लिए यह नई चिंता का विषय बना हुआ हैं. इसलिए डॉक्टर्स का कहना हैं की इस सर्दियों में आपको अपने शरीर का ख़ास ध्यान रखना होगा.
शोधकर्ताओं ने अपनी जांच में पाया है की, जो लोग भी कोरोना से संक्रमित हुए है उनको ठीक होने के 3-4 महीने तक सांस की तकलीफ, थकान, चिंता और अवसाद जैसे लक्षणों का सामना करना पड़ रहा हैं. शोधकर्ताओं की टीम का नेतृत्व करने वाले ऑक्सफोर्ड के रेडक्लिफ विभाग के एक डॉक्टर बेट्टी रमन ने मीडिया को ब्यान देते हुए कहा है की, “ये निष्कर्ष कोविड-19 के साथ जुड़ी शारीरिक प्रक्रियाओं का पता लगाने और हमारे रोगियों के लिए नैदानिक देखभाल के एक एकीकृत मॉडल को विकसित करने की आवश्यकता को रेखांकित करते हैं. यह लंबे समय तक बुखार और वायरस अंगों पर पड़े प्रभाव के बीच एक संभावित जुड़ाव का संकेत देते हैं.”
ब्रिटेन के नेशनल इंस्टीट्यूट फॉर हेल्थ रिसर्च (एनआईएचआर) ने भी पिछले हफ्ते दावा किया था की कोविड आपके शरीर से तुरंत नहीं जाता. अगर आपकी रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद नेगेटिव भी आती है तो भी आपको अगले 3-4 महीने शरीर में कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ सकता हैं. इसे फिलहाल ‘Long Covid’ का नाम दिया गया है.
भारत सरकार ने भी अपने नागरिकों को व्यक्तिगत स्तर पर मास्क लगाना, शारीरिक दूरी का पालन, गर्म पानी पीने, योग-प्राणायाम जैसी हल्के व्यायाम के साथ-साथ अच्छी नींद लेना और इम्युनिटी बढ़ाने वाली दवा लेने के दिशा निर्देश जारी किए हैं. दरअसल लोग इस बिमारी को लेकर अब डरना बंद कर चुके हैं और सर्दिया भी आ चुकी हैं. यही वजह है की अब डॉक्टर्स पहले से ज्यादा परेशान हैं, क्योंकि वैक्सीन अभी तक नहीं आई.