सरसों का तेल जो कि एक आम नागरिक के लिए काफी ज्यादा महत्व रखता है वही खबर तो यह आ रही है कि कृषि विभाग के अधिकारियों ने पहले से ही सरसों के तेल के भाव में गिरावट होने का अनुमान जताया था और ऐसे में उनका तर्क था कि साल 2021 में जिस प्रकार से उत्तर प्रदेश में सरसों की पैदावार हुई है ठीक उसी प्रकार से सरसों के तेल के भाव भी गिरने तय है! क्योंकि ऐसा पहली बार हुआ है जब उत्तर प्रदेश के अंदर सरसों की पैदावार करीबन दोगुनी हुई है तो वही बाजार विशेषज्ञों का भी दावा है कि आने वाले दिनों में सरसों के तेल में भारी गिरावट देखने को मिलेगी वहीं उनका यह भी कहना है कि जनवरी के बाद सरसों के तेल का दाम अपने न्यूनतम स्तर तक पहुंच जाएगा!
ऐसे में सरसों के तेल के दामों की बात की जाए तो उत्तर प्रदेश के विभिन्न शहरों में इसके भाव का अंतर अब ज्यादा नहीं है 6 जनवरी को जहां गाजियाबाद में सरसों का तेल अपने अधिकतम स्तर ₹171 प्रति लीटर खुला है तो वहीं 5 जनवरी को गोंडा में सरसों का तेल ₹181 था जबकि गोंडा में ही 4 जनवरी को सरसों का तेल 182.50 rupey दर्ज किया गया था! ठीक इसी प्रकार शाहजहांपुर में 3 जनवरी को ₹150 और 2 जनवरी को गोंडा में ₹182 तथा 1 जनवरी को गोंडा में 182.50 रुपए तो वहीं पिछले साल 31 दिसंबर को अंतिम दिन में गाजियाबाद में ₹171 पर बंद हुआ था!
वही तेल के दामों के न्यूनतम स्तर की बात की जाए तो उत्तर प्रदेश के विभिन्न शहरों के वायदा बाजार में सरसों का तेल ₹150 प्रति लीटर के आसपास चल रहा है और 6 जनवरी को जहां शाहजहांपुर में सरसों का तेल ₹151 पर खुला था तो वहीं 5 जनवरी को सबसे कम कासगंज में सरसों के तेल के दाम में ₹140 था! वहीं दूसरी ओर हाथरस में 4 जनवरी को ₹143 था और इसी प्रकार 3 जनवरी को एटा में ₹145 एवं 2 जनवरी को अलीगढ़ में लगभग ₹146! वहीं साल 2021 के अंतिम दिन 31 दिसंबर की बात की जाए तो अलीगढ़ में ₹145 प्रति लीटर सरसों का तेल का दाम था!